Baba Amarnath ने दे दिए हैं दर्शन, Kedarnath कपाट खुलने को तैयार, जानें शुभ आरंभ से लेकर समापन तक…
Amarnath Yatra 2024: पवित्र अमरनाथ गुफा से बाबा बर्फानी की तस्वीरें वायरल हो रही हैं। बाबा बर्फानी ने दर्शन दे दिए हैं। वायरल वीडियों में हिमलिंग को पूरे आकार में बना हुआ देखा जा सकता है। इस बार की श्रद्धालुओं की यात्रा को आसान बनाने के लिए प्रशासन ने कड़े इंतजाम किए हैं। साथ ही पवित्र 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक केदारनाथ धाम के कपाट खुलने की शुभ तिथि का भी ऐलान हो गया है। केदारनाथ धाम के कपाट 10 मई को शुक्रवार सुबह 7 बजे पूरे विधि-विधान के साथ खुलेंगे। हर साल की तरह भाई दूज के दिन केदारनाथ धाम के कपाट 6 महीने के लिए बंद हो जाएंगे।
कपाट खुलने का समय
बता दें कि केदारनाथ के कपाट खुलने की प्रक्रिया 6 मई से शुरू हो जाएगी। 6 मई को ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ से गुप्तकाशी बाबा केदार का चल विग्रह पहुंच जाएगा। 7 मई को रामपुर पहुंचने के बाद 8 मई को गौरीकुंड और 9 मई को केदारनाथ धाम में विराजमान होगा। 10 मई सुबह 7 बजे से बाबा केदारनाथ के कपाट श्रृद्धालुओं के लिए खोले जाएंगे। हालांकि बदरीनाथ मंदिर के कपाट 12 मई को खुलेंगे। जबकि गंगोत्री और यमुनोत्री की मंदिर के खोलने का मुहूर्त चैत्र नवरात्रि की प्रतिपदा और यमुना जयंती के दिन तय होंगे।
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यात्रा का शुभ आरांभ
वहीं अमरनाथ यात्रा का शुभ आरांभ 29 जून से होगा। अमरनाथ यात्रा का समापन 19 अगस्त दिन सोमवार को होगा। हालांकि अमरनाथ यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन 15 अप्रैल दिन सोमवार से शुरू हो जाएंगे। यात्रा के दौरान शारीरिक तौर पर फिट होना जरूरी है। अमरनाथ यात्रा करने वालों को मेडिकल सर्टिफिकेट के साथ और भी कई दिशानिर्देशों का पालन करना जरूरी होता है।
कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि
अमरनाथ यात्रा शोभन योग और आषाढ़ माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि में शुरू होगी। 29 जून को अष्टमी तिथि दोपहर 02:19 तक है, वहीं शोभन योग प्रात:काल से शाम 06:54 तक है। उस दिन उत्तर भाद्रपद नक्षत्र सुबह 08:49 तक है, उसके बाद रेवती नक्षत्र है। यात्रा के पहले दिन का शुभ समय यानी अभिजित मुहूर्त सुबह 11:57 से 12:53 तक है।
अमरनाथ यात्रा का समापन
इस साल की अमरनाथ यात्रा 19 अगस्त को समाप्त होगी। उस दिन सावन पूर्णिमा तिथि, सावन का पांचवा सोमवार और रक्षाबंधन का त्यौहार भी होगा। समापन वाले दिन भी शोभन योग होगा है। हालांकि उस दिन सुबह 05:53 से सर्वार्थ सिद्धि योग और रवि योग हैं, जो सुबह 08:10 तक रहेगा।
पौराणिक कथाओं के अनुसार
बाबा अमरनाथ की पवित्र गुफा में भगवान शिव ने माती पार्वती को अमरत्व की कथा सुनाई थी। लेकिन माता पार्वती कथा के बीच में ही सो गईं। कहते हैं कि उस गुफा में भगवान शिव और माता पार्वती के अलावा कबूतर का एक जोड़ा भी मौजूद था, जिसने अमरत्व की कथा सुन ली थी। इसके बाद वह कबूतरों का जोड़ा अमर हो गया। आज भी गुफा में इस कबूतरों के जोड़े को देखा जा सकता है। कहते हैं कि यह वही कबूतरों का जोड़ा है जिंहोने अमर कथा सुनी थी।
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भगवान शिव नहीं चाहते थे कि अमरत्व की कथा देवी पार्वती के अलावा कोई और सुने। इसलिए उन्होंने कैलाश से चलते समय नंदी, गणेश जी, वासुकी समेत अन्य गणों को रास्ते में ही छोड़ दिया था। आज जिन देवताओं को जहां छोड़ा था उन्हीं नाम पर स्थानों के नाम पड़ा हैं जो की अमरनाथ यात्रा के समय रास्तें में पड़ते हैं।